सीआरसीएस-सहारा रिफंड पोर्टल के जरिए सरकार ने अब तक लौटाए 10 हजार तक लिमिट वाले 4.29 लाख निवेशकों के 370 करोड़ रुपये
एफएनएन ब्यूरो, नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने सहारा समूह की सहकारी समितियों के छोटे जमाकर्ताओं के लिए धन वापसी की सीमा को 10,000 रुपये से बढ़ाकर 50,000 रुपये कर दिया है। सहकारिता मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी। सरकार ने अब तक सीआरसीएस-सहारा रिफंड पोर्टल के माध्यम से सहारा समूह से संबद्ध सहकारी समितियों के 4.29 लाख से अधिक जमाकर्ताओं को 370 करोड़ रुपये जारी किए हैं।
इस अधिकारी ने बताया कि रिफंड राशि की सीमा बढ़ाकर 50,000 रुपये कर दिए जाने से अगले 10 दिनों में वास्तविक निवेशकों को लगभग 1,000 करोड़ रुपये का भुगतान कराया जाएगा।
सरकार रिफंड जारी करने से पहले जमाकर्ताओं के दावों की सावधानीपूर्वक जांच कर रही है। सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के बाद, सहारा समूह की चार बहु-राज्यीय सहकारी समितियों से जुड़े वास्तविक जमाकर्ताओं को उनके निवेश की रकम लौटाने के लिए 18 जुलाई, 2023 को सीआरसीएस-सहारा रिफंड पोर्टल शुरू किया गया था।
ये समितियां हैं – सहारा क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड, लखनऊ; सहारायन यूनिवर्सल मल्टीपर्पज सोसाइटी लिमिटेड, भोपाल; हमारा इंडिया क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड, कोलकाता तथा स्टार्स मल्टीपर्पज कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड, हैदराबाद।
29 मार्च, 2023 के सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के अनुसार, 19 मई, 2023 को सेबी-सहारा रिफंड खाते से 5,000 करोड़ रुपये की राशि केंद्रीय सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार (सीआरसीएस) को हस्तांतरित की गई थी। डिजिटल माध्यम से धन का वितरण की सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति आर. सुभाष रेड्डी की द्वारा की निगरानी में कराया जा रहा है।