एफएनएन स्पोर्ट्स डेस्क, पेरिस। Paris Paralympics पेरिस पैरालिंपिक्स में मंगलवार को छठे दिन भारतीय एथलीटों ने हाई जंप और जैवलिन थ्रो के सिल्वर और ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम करके इतिहास रच दिया है। मंगलवार को भारत ने कुल पांच पदक जीते। अपने नाम किए, जिससे भारत के कुल पदकों की संख्या 20 तक पहुंच चुकी है।
पैरालंपिक के इतिहास में एक ही संस्करण में भारत के ये सर्वाधिक पदक हैं। इससे पहले भारत ने टोक्यो पेरालिंपिक्स में 19 पदक जीते थे। पेरिस पैरालिंपिक्स के लिए भारत ने अब तक का अपना सबसे बड़ा दल भेजा था। भारत अब तक तीन स्वर्ण, सात रजत और दस कांस्य समेत कुल 20 पदक जीत चुका है। उसकी नजरें इस बार 25 से अधिक पदक हासिल करने पर हैं।
मंगलवार को भारत के लिए पदकों का खाता दीप्ति ने खोला। उन्होंने वुमेंस 400 मीटर T20 स्पर्धा का कांस्य पदक अपने नाम किया। इसके बाद भारत के लिए मेंस जैवलिन थ्रो F46 में अजीत सिंह ने सिल्वर तो सुंदर सिंह गुर्जर ने ब्रॉन्ज मेडल जीता। वहीं मेंस हाई जंप T63 स्पर्धा में शरद कुमार ने सिल्वर तो मरियप्पन थंगावेलु ने ब्रॉन्ज अपने नाम किया। इससे पहले, स्वर्ण पदक जीत चुकीं निशानेबाज अवनि लेखरा महिलाओं की 50 मीटर राइफल 3 पोजीशन स्पर्धा के फाइनल में पांचवें स्थान पर रहीं। तीरंदाजी में पूजा जाटयान क्वार्टर फाइनल मुकाबले में हार गईं। ओपनिंग सेरेमनी में भारत की ध्वजवाहक भाग्यश्री जाधव भी महिला शॉट पुट F34 फ़ाइनल में पदक से चूक गईं।
भाला फेंक में भारत का शानदार प्रदर्शन
भाला फेंक (जैवलिन थ्रो) F46 फ़ाइनल में भारत के रिंकू हुडा, अजीत सिंह और सुंदर सिंह गुर्जर पदक की दौड़ में जीत के काफी करीब हैं। अजीत सिंह ने पांचवें प्रयास में 65.62 मीटर का थ्रो कर दूसरे स्थान पर जगह बनाई और सिल्वर मेडल के लिए अपनी दावेदारी पेश की है तो वहीं सुंदर सिंह गुर्जर ने चौथे प्रयास में 64.96 मीटर का सर्वश्रेष्ठ थ्रो कर तीसरे स्थान पर जगह बनाई है और ब्रॉन्ज मेडल के लिए रेस में हैं। वहीं स्पर्धा में हिस्सा ले रहे तीसरे भारतीय जेवलिन थ्रोअर रिंकू ने दूसरे प्रयास में 60.58 मीटर का थ्रो किया और वो पांचवें स्थान पर चल रहे हैं। अभी आखिरी मौका बाकी है। अगर यही स्टैंडिंग रही तो भारत इस स्पर्धा में कम से कम दो मेडल अपने नाम करने में जरूर सफल होगा।