जिंदा बच जाने वालों में से भी 50 लाख स्ट्रोक के मरीज हमेशा के लिए हो जाते हैं अपाहिज
संतुलित खानपान, नियमित व्यायाम और नियत्रित ब्लड प्रेशर है बहुत जरूरी
FAST-इस फार्मूले को अपनाएं, बच सकती है आपकी जान!
हेल्थ डेस्क, एफएनएन, नई दिल्ली। दुनिया भर में हर साल सबसे ज्यादा लोगों की मौतें हार्ट अटैक और ब्रेन स्ट्रोक से होती हैं। ब्रेन स्ट्रोक के मामले बेहद ही खतरनाक ढंग से साल-दर-साल बढ़ते ही जा रहे हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की लेटेस्ट रिसर्च रिपोर्ट भी काफी चौंकाने वाली है। इस रिपोर्ट के अनुसार हर साल विश्व भर में 15 मिलियन (1.5 करोड़) लोग ब्रेन स्ट्रोक से पीड़ित हो रहे हैं। इनमें से करीब 5 मिलियन यानी 50 लाख लोगों की जानें डॉक्टर तमाम कोशिशों के बाद भी बचा नहीं पाते हैं।
ब्रेन स्ट्रोक का यह खतरा कितना बड़ा है, इसका अंदाजा आप सिर्फ इसी तथ्य से लगा सकते हैं कि ब्रेन स्ट्रोक के बाद जो रोगी जिंदा बच भी जाते हैं, उनमें से करीब 50 लाख लोग हमेशा के लिए विकलांग हो जाते हैं।
बढ़ रहे 40 वर्ष से कम आयु वर्ग के मरीज भी
स्वास्थ्य विशेषज्ञों की मानें तो ब्रेन स्ट्रोक के बढ़ते जोखिमों का सबसे बड़ा कारण अनियमित लाइफस्टाइल और असंतुलित-मिलावटी खानपान ही है। पिछले कुछ वर्षों में 40 वर्ष से कम उम्र के लोगों में भी यह समस्या तेजी से बढ़ी है। इस आयु वर्ग के ज्यादातर लोगों को हाई ब्लड प्रेशर का शिकार पाया गया है।
विशेषज्ञ कहते हैं, यदि स्ट्रोक के लक्षणों की समय पर पहचान होकर इसका सही इलाज हो जाए तो न सिर्फ रोगी की जान बच सकती है, बल्कि स्ट्रोक के कारण होने वाली अन्य जटिलताओं को भी कम किया जा सकता है।
स्ट्रोक दो प्रकार का होता है- इस्केमिक स्ट्रोक और हेमोरेजिक (रक्तस्रावी) स्ट्रोक। आमतौर पर मस्तिष्क के किसी हिस्से में रक्त की आपूर्ति बाधित या कम हो जाने के कारण स्ट्रोक होता है। वहीं रक्तस्रावी स्ट्रोक मस्तिष्क में रक्त वाहिका से रिसाव होने या इसके फट जाने के कारण होता है।
स्ट्रोक एक आपातकालीन स्थिति है जिसमें तुरंत सही उपचार मिलना बहुत जरूरी है।
ये लक्षण दिखें तो हो जाएं खबरदार
स्ट्रोक की पहचान का चिकित्सा विशेषज्ञों ने एक आसान फार्मूला बताया है। इसे आप भी समझ लीजिए और हो जाइए खबरदार!
स्ट्रोक के आम लक्षण-
1-स्ट्रोक से पीड़ित रोगी को सिर में बहुत तेज और असहनीय दर्द हो सकता है। 2-पीड़ित व्यक्ति भ्रमित हो सकता है, अथवा बोलने या बातों को समझने में कठिनाई हो सकती है।
3-स्ट्रोक होने पर चेहरे, हाथ या पैर सुन्न हो सकते हैं। कमजोरी या लकवा की शिकायत हो सकती है।
5- दोनों हाथों को सिर के ऊपर उठाने पर अक्सर एक हाथ कमजोर होकर नीचे गिरने लगता है।
6-शारीरिक संतुलन बिगड़ जाता है और पैदल चलना कठिन हो जाता है।
FAST-इस फॉर्मूले से करें ब्रेन स्ट्रोक की पहचान
स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने ब्रेन स्ट्रोक के रोगी को पहचानने का आसान सा फार्मूला बताया है-FAST। ब्रेन स्ट्रोक के संदिग्ध रोगी की इन चार चीजों की तुरंत जांच करें।
F (Face Drooping): क्या चेहरा एक तरफ झुक गया है?
A (Arm Weakness): क्या एक हाथ कमजोर है, या गिर रहा है?
S (Speech Difficulty): क्या बोलने या समझने में दिक्कत है?
T (Time to Call Emergency): यदि हां, तो तुरंत चिकित्सीय आपातकालीन सेवाओं को कॉल करें।
सावधान, ब्लड प्रेशर को रखें नियंत्रित
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, संतुलित आहार, नियमित व्यायाम और धूम्रपान-शराब से दूरी बनाकर आप स्ट्रोक के खतरे को कम कर सकते हैं। ब्लड प्रेशर को हमेशा नियंत्रित रखें। मत भूलिए, हाई ब्लड प्रेशर ब्रेन स्ट्रोक के खतरे का सिग्नल है।
डॉक्टर कहते हैं, 30 की उम्र के बाद सभी लोगों को नियमित रूप से ब्लड प्रेशर की जांच कराने के साथ ही इसे कंट्रोल में रखने की कोशिशें भी निरंतर करते रहना चाहिए। आपकी थोड़ी सी सावधानी आपको इस जानलेवा खतरनाक बीमारी से बचाने में मददगार हो सकती है।