एफएनएन, बरेली। साहित्यिक संस्था ‘शब्दांगन’ के तत्वावधान में वन महोत्सव के अंतर्गत कंपोजिट विद्यालय, बिहारीपुर में जामुन, नीबू और अमरूद के पौधे लगाए गए।
पौधे लगाने वालों में शब्दांगन के महामंत्री इंद्रदेव त्रिवेदी, विद्यालय की प्रधानाचार्य श्रीमती नुसरत खान, हुमा परवीन, छात्र – छात्राओं पायल गुप्ता, शौर्य पचौरी, शिवांशी पचौरी देव सागर, आफताब, मानहु, उमरा, खुशी, शगुन और भूरी देवी मुख्य रहे। प्रधानाचार्य नुसरत खान ने स्कूल प्रांगण में,लगवाए गए इन सभी पौधों के संरक्षण का आश्वासन भी दिया।
बाद में विचार गोष्ठी में सुरेंद्र बीनू सिन्हा, विशाल शर्मा, अरुण शुक्ला, विनोद कुमार गुप्ता, अलका त्रिवेदी, नीरु रस्तोगी और करुणा शंकर पांडे ने वृक्षों का महत्व बताते हुए कहा कि वृक्ष ही जीवन हैं जो पर्यावरण की सुरक्षा कर मानव और प्राणियों का जीवन बचाते हैं।
काव्य गोष्ठी में विद्यालय के छात्र वंश कक्कड़ ने प्रसिद्ध कवि अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘ हरिऔध’ की कविता फूल और कांटा सुनाकर समां बांध दिया। पंक्तियां इस प्रकार थीं-
‘फूल लेकर तितलियों को गोद में
भौंर को अपना अनूठा रस पिला
निज सुगंधों ‘औ’ निराले ढंग से
है सदा देता कली जी की खिला।’
‘शब्दांगन’ के महामंत्री इंद्रदेव त्रिवेदी की यह कविता भी खूब पसंद की गई-
‘वृक्ष बनें आधार आज इस धरती के
वृक्ष भरें भंडार आज इस धरती के।
वृक्ष प्राण हैं, वृक्ष आत्मा, वृक्ष जिंदगी
वृक्ष रचें संसार आज इस धरती के।’
अंत में सभी ने अपने आसपास पौधारोपण कर उनके संरक्षण का आश्वासन दिया।