एफएनएन, देहरादून: उत्तराखंड परिवहन निगम की सुपर डीलक्स वाल्वो बस सेवा में यात्रियों को पानी की बोतल की सप्लाई करने वाले वेंडर व उसके साथियों ने गुरुग्राम जा रही बस को जबरन रोककर परिचालक से मारपीट की और बस का फ्रंट शीशा तोड़ डाला।
आरोप है कि फर्म की ओर से बसों में कम बोतलों की आपूर्ति कराई जाती है और शेष बोतलें बाहर बेच दी जाती हैं। परिचालक इस बात का विरोध करते हैं तो वेंडर व उसके गुर्गे उन्हें धमकाते हैं। ऐसा ही मामला मंगलवार की रात देहरादून से गुरुग्राम जा रही वाल्वो में सामने आया। इस बस पर परिचालक भूपेंद्र पंवार तैनात था।
जब बस आइएसबीटी से चलने वाली थी, तब वेंडर ने बस में पानी की चार पेटी (80 बोतल) उपलब्ध कराईं, जबकि परिचालक ने 96 यात्रियों के हिसाब से पांच पेटी (100 बोतल) उपलब्ध कराने को कहा। परिचालक ने बताया कि इस पर वेंडर के कार्मिक टिंकू सहगल ने उससे गाली-गलौज शुरू कर दी और धमकाने लगा। वेंडर के साथी सूरज कुमार व अन्य भी वहां पहुंच गए और हाथापाई का प्रयास किया। इस दौरान आइएसबीटी पर अन्य परिचालकों और यात्रियों ने बीच-बचाव कर मामला शांत करा दिया।
आरोप है कि जब बस आइएसबीटी से गुरुग्राम के लिए निकली तो 500 मीटर दूर ट्रांसपोर्टनगर के नजदीक टिंकू सहगल व उसके साथियों ने बस को जबरन रोक लिया और परिचालक भूपेंद्र पंवार को बाहर खींचने का प्रयास किया। आरोप है कि हमलावरों ने परिचालक से मारपीट की और लोहे की चेन से बस का फ्रंट शीशा तोड़ डाला। जब यात्रियों ने विरोध किया तो हमलावरों ने उनसे भी धक्का-मुक्की की।
चालक ने किसी तरह बस को भगाया तो हमलावरों ने छुटमलपुर उत्तर प्रदेश में बस रोकने की धमकी दी। इस पर परिचालक की ओर से पुलिस कंट्रोल रूम को फोन कर सूचित किया गया। बताया गया कि दून पुलिस ने उत्तर प्रदेश पुलिस को भी सूचना भेज दी, जिसके बाद छुटमलपुर में पुलिस सतर्क रही और पुलिस की चौकसी में बस गुरुग्राम के लिए निकल गई। बुधवार को दून वापस पहुंचने पर परिचालक ने आरोपित वेंडर के विरुद्ध लिखित शिकायत दी। परिचालक ने प्रबंधन से आरोपित के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराने की मांग की है।
पूर्व में भी आ चुकी है शिकायत
पानी की सप्लाई करने वाली कोटद्वार की फर्म के विरुद्ध पूर्व में भी कई बार शिकायत आ चुकी हैं, लेकिन उच्च अधिकारियों से सांठगांठ होने के कारण फर्म के विरुद्ध कभी कार्रवाई नहीं हो पाई। पिछले माह दिल्ली से दून आ रही वाल्वो बस में एक्सपायरी डेट का पानी सप्लाई करने की शिकायत मिली थी। इस मामले में भी प्रबंधन ने कार्रवाई की बात कहकर पल्ला झाड़ लिया था।